Tag womanwriter

ख्वाहिशें

ख्वाहिशें

रात की स्याही मेंलिपट गयी कुछ ख्वाहिशेंऔर लिपट गयी मैं इन् ख्वाहिशों में। चंद रोज़ जब आँख खुली तोदेखा ख्वाब थी वो ख्वाहिशें जोलिपटे चादर की तह की तरह खुल…

दृष्टिकोण

Drishtikon by Sunita Singh

उसकी दृष्टि मलिन हो गयीखुले तन को दिखाती वोऔर व्यसनी हो गयी। तिररस्कर, घृणा मादकउन्माद का आवाहन करती वोऔर वासनामयी हो गयी। चीरहरण करती दृष्टियाँबेबसी की कहती कहानियाँ।निडर प्रयत्न करती…

en_USEnglish